Vishwa ki Shreshtha Kahaniyan-1
Material type: TextPublication details: Bhartiya Kala Parishad 2004Description: 380pSubject(s): Fiction | Hindi LiteratureDDC classification: 891.433 Summary: भारतीय भाषा परिषद ने भारतीय भाषाओं की कई चुनी हुई रचनाओं के संकलन पहले भी प्रकाशित किए हैं। अब इसी क्रम को बढ़ाते हुए, इसी शृंखला में विश्व की श्रेष्ठ कहानियाँ प्रकाशित की जा रही हैं। उम्र के हर मोड़ पर ये कहानियाँ पाठकों के जेहन से टकराई होंगी, कभी लिखित रूप में, कभी वाचिक। सुदूर देशों के भूगोल और इतिहास को उलाक कर इन रचनाओं ने हमारे स्मृति-कोष को समृद्ध किया है। इनकी गहरी मानवीय दृष्टि, मार्मिक सृष्टि और वृहत्तर अभिप्रायों ने हमें ऐसा छुआ है कि हमने इन्हें अपना पाथेय समझा। विश्व कथा साहित्य से परिचित होने की राह में भारतीय भाषा परिषद का यह विनम्र प्रयास है। —ममता कालियाItem type | Current library | Call number | Status | Date due | Barcode | Item holds |
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Books | Ektara Trust | 891.433/KAL(H) (Browse shelf(Opens below)) | Available | 1758 |
भारतीय भाषा परिषद ने भारतीय भाषाओं की कई चुनी हुई रचनाओं के संकलन पहले भी प्रकाशित किए हैं। अब इसी क्रम को बढ़ाते हुए, इसी शृंखला में विश्व की श्रेष्ठ कहानियाँ प्रकाशित की जा रही हैं। उम्र के हर मोड़ पर ये कहानियाँ पाठकों के जेहन से टकराई होंगी, कभी लिखित रूप में, कभी वाचिक। सुदूर देशों के भूगोल और इतिहास को उलाक कर इन रचनाओं ने हमारे स्मृति-कोष को समृद्ध किया है। इनकी गहरी मानवीय दृष्टि, मार्मिक सृष्टि और वृहत्तर अभिप्रायों ने हमें ऐसा छुआ है कि हमने इन्हें अपना पाथेय समझा। विश्व कथा साहित्य से परिचित होने की राह में भारतीय भाषा परिषद का यह विनम्र प्रयास है। —ममता कालिया
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